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रोज़ा केवल दिन भर भूखा-प्यासा रहने का नाम नहीं बल्कि तकवा ईमान की मजबूती और परहेजगारी का नाम है-हाजी रजाक

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जागता झारखंड संवाददाता शहादत अली नारायणपुर (जामताड़ा) नारायणपुर प्रखंड मुख्यालय सहित ग्रामीण क्षेत्रों में रमजान के तीसरे जुमा की नमाज अकीदत और एहतराम के साथ अदा कि गई। रमजानुल मुबारक के पाक महीने के तीसरे जुमा की नमाज अदा करने के लिए शुक्रवार को छोटी बड़ी मस्जिदों में नमाजियों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। जुमा की नमाज अदा करने के लिए नमाजियों के मस्जिदों में आने का सिलसिला साढ़े ग्यारह बजे से ही शुरू हो गया था। हालांकि इलाके में दो दिनों से रुक रुक कर बारिश हो रही है। इसके बावजूद मस्जिदों में भीड़ देखा गया।ईदगाह टोला कादरी मस्जिद में हांजी अब्दुल रज्जाक मिस्बाही के द्वारा नमाज अदा कराई गई। इस अवसर पर उन्होंने बताया रोज़ा केवल दिन भर भूखा-प्यासा रहने का नाम नहीं बल्कि तकवा ईमान की मजबूती और परहेजगारी का नाम है, माह-ए-रमजान जहन्नम से निजात का महीना बताया। कहां इस महीने मांगी गई दुआ अल्लाह जल्द कबूल करते हैं। बताया आज रमजान के तीसरे जुमे के दिन रोजेदार रमजान का 20वां रोजा भी रखें है.कहा जो बंदा एतकाफ के नियत से पूरे दस दिनों तक मस्जिद में रह कर इबादत करते हैं उसका अल्लाह सारे गुनाह माफ कर देता है। उन्होंने फ़ितरा और जकात के बारे में विस्तृत जानकारी रोजेदारों को दिया। पाक माह रमजान के तीसरे जुमे की नमाज भारी अकीदत के साथ पढ़ी गई, नमाज बाद नमाजियों ने देश व कौम की सलामती के लिए दुआ मांगी। इस प्रकार इलाके के सारे मस्जिदों में रमजान का तीसरा जुम्मा अकीदत के साथ अदा किया गया।मौके पर मस्जिद के ईमाम मो अब्बास के अलावा गांव मोहल्ला के बच्चे युवा बुजुर्ग भरी संख्या में उपस्थित थे।

Jagta Jharkhand
Author: Jagta Jharkhand

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